मैं शोला था मैं शोला हूँ मैं शबनम हो नहीं सकता,

मैं भोला था मैं भोला हूँ, मैं शातिर, हो नहीं सकता,

वो सारी कोशिशें तेरी,   सदा नाकाम  ही  होंगी ,

मैं प्यारा था, मैं मीठा था, मैं तीखा, हो नहीं सकता। 

मैं धरती हूँ, वतन रज हूँ, मैं अम्बर हो नहीं सकता,

मैं दरिया था, मैं दरिया हूँ, समन्दर हो नहीं सकता,

वो  सारी  कोशिशें  तेरी    यहाँ  औंधी  पड़ी  होंगी,

मैं दाता हूँ, बचाता हूँ, .  मैं कातिल हो नहीं सकता।

मैं सौरभ हूँ, मैं खुशबू हूँ, सड़न मैं हो नहीं सकता,

मैं रहबर हूँ, मैं अमृत हूँ मैं विषधर हो नहीं सकता,

यहाँ  मक्कारियाँ  तेरी   सभी  मुर्दा  पड़ी  होंगी,

मैं भारत हूँ वो मस्तक है किसी का हो नहीं सकता।

मैं दिनकर हूँ, मैं सूरज हूँ, अँधेरा   हो नहीं सकता,

मैं हिमगिरि हूँ हिमालय हूँ मैं छोटा हो नहीं सकता,

यहाँ शैतानियत तेरी,       सभी खण्डित पड़ी होंगी,     

मैं  भारत हूँ, मैं  चेतन हूँ,   अधूरा रह नहीं  सकता।             

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